
भोपाल में मौलाना मेहमूद मदनी (Photo Source- Patrika)
Mehmood Madani Statement In Bhopal : मुल्क में नफरती माहौल पैदा किया गया है। ये खास मजहब और वर्ग के खिलाफ किया जा रहा है। कहीं बुलडोजर, मॉब लिचिंग तो कहीं कानूनी उलझनों में फंसाया जा रहा है। मकसद मुसलमानों की आजादी कमजोर करने का प्रयास है। 'जिहाद' जैसे मुकद्दस लफ्ज को बदनाम करना इसी का हिस्सा है। जब-जब जुल्म बढ़ा है, तब-तब जिहाद हुआ है। ये हमेशा से जुल्म के खिलाफ होता रहा है और आगे भी होगा। ये बातें मौलाना महमूद मदनी ने मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में शनिवार को कही।
भोपाल में जमीयत उलेमा की गवर्निंग बॉडी की बैठक में वे बोले- हुकूमत मजहबी इरादों से दखल दे रही है। पहनावे, पहचान और जीवनशैली पर सवाल उठाए जा रहे हैं। मुस्लिम देश के बराबर के नागरिक हैं, पर शिक्षा, रोज़गार और सामाजिक बराबरी के अधिकार कमजोर हो रहे हैं। जमीयत की देशभर में इकाइयां बनेगी। ये समाज सुधार के काम करेंगी।
मौलाना मदनी ने कहा कि, इस मुल्क में आज की तारीख में नौजवान नशे में पड़े हुए हैं। बहुत से नौजवान ड्रग्स के नशे में हैं और वो ड्रग्स भी अफीम और चरस से आगे बढ़ गई है। केमिकल वाला नशा जिसका असर ज्यादा होता है, तेज होता है और उसे छोड़ना भी अफीम और चरस के मुकाबले मुश्किल होता है। मदनी ने कहा कि अब अफीम और चरस के नशे को ऑर्गेनिक नशा कहा जाने लगा है। इसके साथ ही मदनी ने कहा कि, हम जो काम कर रहे हैं, वो नीचे जाए। बजाय इसके कि मरकज और सूबे काम करें, बल्कि इन कामों के लिए मकामी यूनिटों को तैयार किया जाए।
मौलाना मदनी द्वारा दिए बयान को लेकर देश-प्रदेश की राजनीति गरमा गई है। इसे लेकर खेल एवं सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग ने पलटवार किया है। मंत्री सारंग ने कहा- मौलाना मदनी, हिंदुस्तान में रहना है तो वंदे मातरम कहना होगा। ये फिरकापरस्ती और देश को तोड़ने की बातें, इससे बहुत दिन राजनीति कर ली। संविधान और संवैधानिक व्यवस्था का मज़ाक उड़ाना, अब सुप्रीम कोर्ट पर टिप्पणी करना दुर्भाग्यपूर्ण है। मदनी भूल रहे है कि, हिंदुस्तान में आज़ाद हिंदुस्तानी के रूप में रह रहे हैं तो संविधान का पालन करना होगा। सारंग ने कहा- खाते हिंदुस्तान की हैं, लेकिन गाते किसी और की, ये नहीं चलेगा।'
-धर्मांतरण परमेहमूद मदनी ने कहा कि- 'एक वर्ग है, जिसके घर वापसी के नाम पर हुकूमत ने खुली छूट दे रखी है। आए दिन धर्मांतरण के मामले सामने आ रहे हैं। कार्रवाई नहीं की जा रही है। जबकि, उसी तरह के मामले में दूसरे मजहब को टारगेट किया जा रहा है।
-मदनी ने ये भी कहा कि, अब अदालतों के कई फैसले संदेह पैदा करने वाले हो गए हैं। सुप्रीम कोर्ट सच्चा इंसाफ करेगा, तभी सुप्रीम कहलाएगा।
-उन्होंने देश के युवाओं से अपील करते हुए कहा कि, माहौल को सुधारने के लिए उन्हें आगे आना चाहिए। सच्चे देशभक्त बनना चाहिए। नशा, भेदभाव जैसी बुराइयों को खुद से दूर कर समाज सेवा के कार्यों में बढ़ृ चढ़कर हिस्सा लेना चाहिए।
Published on:
30 Nov 2025 08:42 am
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