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Patrika Keynote 2025 : विचारों के महाकुंभ में बोले विनोद अग्रवाल- ‘नागरिक सजग हों, लोकतंत्र सशक्त हो तो राष्ट्र समृद्धि का शिखर छूता है’

Patrika Keynote 2025 : पत्रिका समूह के संस्थापक श्रद्धेय कर्पूर चंद्र कुलिश की जन्म शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में पत्रिका समूह देशभर में संवाद श्रृंखला आयोजित कर रहा है। इसी क्रम में भोपाल के पं.खुशीलाल शर्मा शासकीय आयुर्वेद महाविद्यालय एवं संस्थान सभागार में लोकतंत्र और मीडिया विषय पर मंथन।

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भोपाल

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Faiz Mubarak

Oct 28, 2025

Patrika Keynote 2025

पत्रिका की-नोट में लोकतंत्र और मीडिया पर चर्चा (Photo Source- Patrika)

Patrika Keynote 2025 : पत्रिका समूह के संस्थापक श्रद्धेय कर्पूर चंद्र कुलिश की जन्म शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में देशभर में संवाद श्रृंखला पत्रिका KEYNOTE आयोजित कर रहा है। इसी क्रम में आज मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के पं. खुशीलाल शर्मा शासकीय आयुर्वेद महाविद्यालय एवं संस्थान सभागार में लोकतंत्र और मीडिया विषय पर मंथन हुआ। कार्यक्रम में पत्रिका समूह के प्रधान संपादक डॉ. गुलाब कोठारी की मौजूदगी में हुए विचारों के महाकुंभ में उद्योगपति और समाज सेवी विनोद अग्रवाल ने अपने विचार व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि, युवा हमारे देश का भविष्य हैं और उनका भविष्य सीधे तौर पर लोकतंत्र और मीडिया से जुड़ा हुआ है।

विचारों के महाकुंभ में उद्योगपति और समाज सेवी विनोद अग्रवाल ने अपने संबोधन की शुरुआत करते हुए कहा- 'जनता का पत्रिका पर भरोसा है, युवा हमारे देश का भविष्य हैं और उनका भविष्य सीधे-सीधे लोकतंत्र और हमारी मीडिया से जुड़ा हुआ है। भारत आज के समय में पूरी दुनिया की चौथी बड़ी अर्थव्यवस्था है और तीसरी अर्थव्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है, इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए हमारी सबसे बड़ी ताकत हमारी जनसंख्या है और उस जनसंख्या में भी जो 60% युवा जनसंख्या है वो है। उन्होंने आगे कहा कि मीडिया अगर युवाओं को सही और सटीक जानकारी दे, अवसर और मंच दे तो वही हमारे राष्ट्र के सच्चे परिवर्तनकर्ता बनेगें।'

'पत्रिका का हृदय से आभार जो..'- विनोद अग्रवाल

विनोद अग्रवाल ने आगे कहा कि, 'मीडिया संस्थानों और परिवारों का ये कर्तव्य है कि वो युवाओं को केवल शोर नहीं स्पष्ट दिशा दें। आज का युग चुनौतीपूर्ण है लेकिन अवसरों से भरा हुआ भी है, लोकतंत्र की रक्षा के लिए मीडिया की भूमिका अनिवार्य है। आईये हम सब मिलकर एक ऐसे मीडिया का निर्माण करें जहां सत्य, पारदर्शिता और जिम्मेदारी सर्वोपरि है। हमारी आने वाली पीढ़ियां, युवा, ज्ञान संपन्न और संस्कारी होकर, हम सब मिलकर उस लोकतंत्र को मजबूत करें। भारत जो कभी सोने की चिड़िया थी, आज हम फिर पुन: उसे सोने की चिड़िया बनाने के मार्ग पर अग्रसर हैं और उसे सोने की चिड़िया बनाना चाहते हैं। जब नागरिक सजग हो और लोकतंत्र सशक्त हो तो राष्ट्र समृद्धि के शिखर को छूता है। मैं पत्रिका का हृदय से आभार व्यक्त करता हूं जिन्होंने मुझे अपने विचार रखने का यहां मौका दिया।'