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दो साल की रौनक एक दिन में खत्म! रविवार को लोग खाने-पीने पहुँचे, पर निराश लौटे… शिफ्ट हुई चौपाटी ठप

CG News: रायपुर पिछले तीन दिन से शहर में सबसे ज्यादा चर्चा का विषय बनी चौपाटी रविवार को अंधेरे में रही। दोनों जगह वीरानी छाई रही।

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दो साल की रौनक एक दिन में खत्म! रविवार को लोग खाने-पीने पहुँचे, पर निराश लौटे... शिफ्ट हुई चौपाटी ठप(photo-patrika)

दो साल की रौनक एक दिन में खत्म! रविवार को लोग खाने-पीने पहुँचे, पर निराश लौटे... शिफ्ट हुई चौपाटी ठप(photo-patrika)

CG News: छत्तीसगढ़ के रायपुर पिछले तीन दिन से शहर में सबसे ज्यादा चर्चा का विषय बनी चौपाटी रविवार को अंधेरे में रही। जहां से हटाई गई यानी साइंस कॉलेज मैदान के पास से और जहां शिफ्ट की गई यानी आमानाका ओवरब्रिज के नीचे। दोनों जगह वीरानी छाई रही।

रविवार को छुट्टी के कारण भीड़ पुरानी चौपाटी पर आई, लेकिन यहां दुकानें नहीं दिखने पर आमानाका ब्रिज के नीचे पहुंची। यहां भी दुकानें बंद पाकर लोग निराश होकर लौट गए, इनमें सबसे ज्यादा संख्या कॉलेज स्टूटडेंट की रही।

CG News: रविवार को लोग खाने-पीने पहुँचे

एजुकेशन हब में एक स्पॉट रसूख की भेंट चढ़ गया। इसके साथ ही उस जगह पर दो साल की रौनक भी अब मिट्टी में मिल गई। जहां मेधावी छात्र-छात्राओं की भीड़ हुआ करती थी। उजड़ी हुई जगह पर अब धधक रहे हैं तो केवल सवाल… ये यूथ हब चौपाटी अवैध थी, तो क्या ऐतिहासिक बूढ़ातालाब के किनारे और सप्रेशाला, दानी डिग्री गर्ल्स स्कूल और डिग्री गर्ल्स कॉलेज जाने वाले रास्ते पर खुल रही चौपाटी वैध है?

वहीं जिस आमानाका ओवरब्रिज के पास चौपाटी खोली गई वहां धूल भर रही है। क्योंकि उखड़ी सड़क का डामरीकरण तक नहीं कराया गया। उसके सामने ब्रिज के नीचे धूल की मोटी परतों पर गाड़ियां सुधारने का कारोबार रोज की तरह जरूर चल रहा है। हटाई गई चौपाटी से छोटे दुकानदारों के परिवारों की रोजी-रोटी चलती थी।

साइंस कॉलेज मैदान के पास जब देर रात स्टॉल बंद करते थे तो हर दिन खर्चा काटने के बाद हजार, दो हजार रुपए घर लेकर जाते थे। उन्हें अब वेंडर जोन में पानी, बिजली कनेक्शन का इंतजार है। दोपहर में स्मार्ट सिटी कंपनी से दो लोग आए और केवल दो स्टॉलों में बिजली कनेक्शन जोड़कर चले गए। पूछने पर बताया कि स्मार्ट सिटी के अधिकारियों ने भेजा है। कनेक्शन करने में दो से तीन दिन और लगेगा।

आमानाका ओवरब्रिज के नीचे दूसरा दिन भी सूना

चौपाटी शिफ्टिंग के दूसरे दिन भी पूर्व महापौर प्रमोद दुबे ने इसे मनमानी बताया। उन्होंने विधायक मूणत पर अनेक आरोप लगाए। साइंस कॉलेज चौपाटी को अवैध कहने पर उन्होंने मूणत को कटघरे में खड़ा किया। उनका कहना है कि स्मार्ट सिटी योजना मोदी सरकार की है। मूणत ने चौपाटी नहीं शिफ्टिंग करवाई है, बल्कि केंद्र सरकार की योजना पर कुठाराघात है। यूथ हब फूड कोर्ट उसी का हिस्सा है। बोर्ड कमेटी से साढ़े 19 करोड़ की स्वीकृति दी गई थी।

तोड़ने के बाद स्मार्ट सिटी कंपनी की सफाई

केंद्र द्वारा नियुक्त टाटा कंसल्टेंसी का प्रस्ताव था। स्मार्ट सिटी बोर्ड कमेटी में तत्कालीन सांसद और दोबार के महापौर सुनील सोनी चेयरमैन, कलेक्टर अध्यक्ष, कमिश्नर सचिव और तत्कालीन विधायक, मंत्री बृजमोहन अग्रवाल सहित कांग्रेस विधायक, महापौर सदस्य थे। तब आपत्ति क्यों नहीं किए। मूणत हाईकोर्ट में हारे।

सुप्रीम कोर्ट जाने के लिए बोले, क्यों नहीं गए। भाजपा नेताओं की शिकायत पर तत्कालीन केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी ने हैदराबाद की टीम से जांच कराई थी, वह रिपोर्ट मूणत सार्वजनिक करें। कार्रवाई के दूसरे दिन रविवार को स्मार्ट सिटी कंपनी के अफसरों ने सफाई दी। उन्होंने कहा कि साइंस कॉलेज मैदान के पास 1000 सीटर नालंदा परिसर का निर्माण किया जाएगा। इस कारण वेंडिंग जोन में शिफ्ट किया है।

महापौर के बंद कराने के बाद भी स्टॉल कायम

विगत दिनों महापौर मीनल चौबे ने बूढ़ातालाब पाथवे पर दानी गर्ल्स स्कूल के गेट तरफ की चौपाटी के तीन स्टॉलों को बंद कराया था। वहां गंदगी फैलाते पाए जाने पर यह कार्रवाई की थी, लेकिन चौपाटी के स्टॉल आज भी उस जगह पर बने हैं। इसी रास्ते से सप्रे शाला और दानी स्कूल की छात्राएं और छात्र आते-जाते हैं। बता दें कि सत्ता परिवर्तन होने से इस तरफ के गेट को आवाजाही के लिए सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने खुलवाया फिर उसी पाथवे पर चौपाटी खुलने का रास्ता बना।

आनन-फानन में आमानाका ओवरब्रिज के पास खानपान के 60 स्टॉल रख तो दिए गए हैं, परंतु आम लोगों, युवाओं को सुविधा मिलने पर सवाल बना हुआ है, क्योंकि स्टॉलों के बीच में जगह बहुत कम है। ऐसे में बैठने के लिए कुर्सियां लगने पर निकलना मुश्किल होगा। ऐसे में चहल-पहल होने में वक्त लगेगा। वाहनों की आवाजाही के दौरान धूल का गुबार चारों तरफ भर रहा है। ऐसे में जब तक यूनिवर्सिटी गेट से लेकर ब्रिज के किनारे से डामरीकरण नहीं होगा, तब तक वहां दो मिनट रुकना मुश्किल होगा।

2018 का काला दिन दोहराया

विधायक राजेश मूणत को यह जवाब देना होगा कि अवैध निर्माण कराने वाले दोषियों पर भाजपा सरकार कार्रवाई कब करेगी। 10 करोड़ जो बर्बाद हुए हैं, उसकी वसूली कब तक होगी। 2018 से खालसा स्कूल के सामने से 70 लोगों को उजाड़ा था, उस काले दिन को भाजपा सरकार ने फिर दोहराया।

मूणत को देंगे तोड़ने का न्योता

ऐतिहासिक बूढ़ातालाब के पाथवे पर किस नियम से छात्राओं के आने-जाने के रास्ते में चौपाटी खोली जा रही है, इसका संरक्षण है। इसका जवाब विधायक राजेश मूणत को देना चाहिए। मैं इसका लगातार विरोध करते रहा। अब मूणत को इस चौपाटी को तोड़ने के लिए न्योता देने जाऊंगा।

पहले साइंस कॉलेज में आयोजन रुकवाएं

विधायक मूणत शिक्षा के माहौल से अनभिज्ञ हैं। उनके ऊपर अहंकार हावी है। युवाओं की सुविधा छीनकर नालंदा लाइब्रेरी निर्माण की बात कर रहे हैं, उन्हें यह पता नहीं है कि साइंस कॉलेज मैदान में हमेशा कार्यक्रम, सभाएं होती हैं। सामने से वाहनों की सबसे अधिक आवाजाही होती है।