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Rajasthan: जल्द होगी अंता सीट पर उपचुनाव की घोषणा, फाइनल वोटर लिस्ट जारी; कांग्रेस-BJP की क्यों बढ़ी टेंशन

Rajasthan Politics: बारां जिले की अंता विधानसभा सीट पर उपचुनाव की तैयारियां शुरू हो गयी हैं। चुनाव आयोग इस महीने उपचुनाव की घोषणा कर सकता है।

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By-election for Anta assembly

पत्रिका फाइल फोटो

Rajasthan Politics: बारां जिले की अंता विधानसभा सीट पर उपचुनाव की तैयारियां शुरू हो गयी हैं। चुनाव आयोग इस महीने उपचुनाव की घोषणा कर सकता है। निर्वाचन विभाग ने 1 अक्टूबर को अंता की फाइनल वोटर लिस्ट जारी कर दी, जिसमें 1136 नए मतदाता जुड़े हैं। यह उपचुनाव राजस्थान की सियासत में सरकार के पर्सेप्शन और दोनों प्रमुख दलों बीजेपी और कांग्रेस के लिए महत्वपूर्ण माना जा रहा है।

अंता में क्यों हो रहा है उपचुनाव?

दरअसल, अंता सीट बीजेपी विधायक कंवरलाल मीणा की सदस्यता रद्द होने के बाद खाली हुई है। 2005 में उपसरपंच चुनाव के दौरान कंवरलाल मीणा पर एसडीएम पर पिस्तौल तानने और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगा था। इस मामले में उन्हें तीन साल की सजा सुनाई गई। सुप्रीम कोर्ट में उनकी अपील खारिज होने के बाद उन्होंने मनोहर थाना कोर्ट में सरेंडर किया, जिसके बाद 1 मई 2025 को उनकी विधानसभा सदस्यता रद्द कर दी गई।

कंवरलाल ने राज्यपाल के पास सजा माफी के लिए दया याचिका भी दायर की है। यदि उनकी सजा माफ हो जाती है, तो उनकी विधायकी बहाल हो सकती है, लेकिन इसमें कई कानूनी और संवैधानिक अड़चनें हैं।

अंता में उपचुनाव की तैयारियां तेज

निर्वाचन विभाग ने 1 जुलाई को आधार मानकर वोटर लिस्ट अपडेशन का अभियान चलाया था। इस संदर्भ में बुधवार को जिला निर्वाचन अधिकारी रोहिताश्व सिंह तोमर की अध्यक्षता में मिनी सचिवालय सभागार में बैठक आयोजित की गई। इसमें मतदाता सूचियों का अंतिम प्रकाशन किया गया। इस समय राजनैतिक दलों के प्रतिनिधी भी मौजूद रहे।

बैठक में अर्हता 1 जुलाई 2025 के संदर्भ में विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम के बारे में राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को जानकारी दी गई। इस दौरान मतदाता सूचियों का अन्तिम प्रकाशन किया गया। राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को मतदाता सूची की प्रति हार्ड कॉपी एवं सॉफ्ट कॉपी सीडी एवं पेनड्राइव में उपलब्ध करवाई जाकर प्राप्ति रसीद प्राप्त की गई।

जिला निर्वाचन अधिकारी ने बैठक में बताया कि मतदाता सूचियों के प्रारूप प्रकाशन के समय विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र अन्ता में कुल 226227 मतदाता थे। जिसमें 115982 पुरूष मतदाता, 110241 महिला मतदाता एवं 4 अन्य मतदाता थे। सभी प्राप्त दावे व आपत्तियों का निस्तारण 25 सितम्बर तक किया गया। 1अक्टूबर 2025 को मतदाता सूची के अन्तिम प्रकाशन के अन्तर्गत अंता विधानसभा क्षेत्र में 116405 पुरूष, 111154 महिला एवं 4 अन्य मतदाता नांमाकित हैं। इस प्रकार अन्तिम प्रकाशन के समय विधानसभा क्षेत्र अन्ता में 227563 मतदाता पंजीकृत है।

सभी दलों की क्या रहेगी रणनीति?

अंता उपचुनाव बीजेपी और कांग्रेस दोनों के लिए प्रतिष्ठा का सवाल है। 2023 के विधानसभा चुनाव में कंवरलाल मीणा ने कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व मंत्री प्रमोद जैन भाया को 5,000 से अधिक वोटों से हराकर यह सीट जीती थी। कंवरलाल पूर्व सीएम वसुंधरा राजे के करीबी माने जाते हैं। बीजेपी के लिए यह सीट सरकार के नरेटिव को मजबूत करने का मौका है।

पार्टी कंवरलाल की पत्नी भगवती मीणा को सहानुभूति कार्ड के तौर पर या पूर्व मंत्री प्रभुलाल सैनी को टिकट दे सकती है। प्रभुलाल सैनी 'माली' समाज से हैं, जिसका इस क्षेत्र में बड़ा वोट बैंक है। इसके अलावा स्थानीय नेता आनंद गर्ग भी टिकट की दौड़ में हैं, जिनके समर्थक उनकी लोकप्रियता और जनता से जुड़ाव को आधार बना रहे हैं।

कांग्रेस की बात करें तो प्रमोद जैन भाया इस सीट पर मजबूत दावेदार हैं। उन्होंने 2003, 2008 और 2018 में यह सीट जीती और दो बार मंत्री रहे। हालांकि, भजनलाल शर्मा सरकार में उनके खिलाफ दर्ज मुकदमों के कारण उनकी पत्नी उर्मिला जैन भाया को टिकट देने की चर्चा है। उर्मिला के जरिए कांग्रेस महिला वोटरों और सहानुभूति कार्ड का फायदा उठाने की कोशिश कर सकती है। इसके अलावा निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर नरेश मीणा भी मैदान में उतर सकते हैं।

अंता सीट का सियासी इतिहास

पिछले दो दशकों में अंता सीट राजस्थान की राजनीति में अहम रही है। बीजेपी और कांग्रेस ने इस सीट पर बारी-बारी से कब्जा किया है। 2008 और 2018 में प्रमोद जैन भाया ने जीत हासिल की, जबकि 2013 में प्रभुलाल सैनी और 2023 में कंवरलाल मीणा ने बीजेपी का परचम लहराया। स्थानीय कार्यकर्ता लंबे समय से स्थानीय उम्मीदवार की मांग कर रहे हैं।