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मरीजों के भोजन में कटौती, 4 की जगह दी जा रही दो रोटी, थाली से सलाद भी गायब

जिला अस्पताल में भर्ती मरीजों को मेन्यू के अनुसार नहीं मिल रहा भोजन

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जिला अस्पताल में भर्ती मरीजों को मेन्यू के अनुसार नहीं मिल रहा भोजन
शहडोल. जिला अस्पताल में भर्ती मरीजों को बेहतर उपचार के साथ पोषणयुक्त भोजन दिए जाने की योजना लापरवाही की भेंट चढ़ती नजर आ रही है। बीमारियों से जूझ रहे मरीजों को मेन्यू के अनुसार भोजन नहीं मिल रहा है। मरीजों को परोसे जाने वाले भोजन की थाली से सबसे महत्वपूर्ण सलाद गायब है, वहीं मरीजों को दी जाने वाली रोटी में भी ठेका कंपनी द्वारा कटौती की जाती है, जिससे मरीजों को पर्याप्त भोजन नहीं मिल पाता। मरीजों और परिजनों का कहना है कि भोजन की गुणवत्ता भी खराब है, सीजनी हरी सब्जी के नाम पर अधिकांश दिनों में सिर्फ कद्दू दिया जाता है, वहीं पालक की जगह लाल भाजी परोसी जाती है।

रविवार को यह था भोजन के मेन्यू में

गर्भवती व धात्री महिलाओं के साथ एसएनसीयू व एनआरसी में भर्ती बच्चों को लिए डाइट चार्ट अलग बनाया गया है, चार्ट के अनुसार सुबह चाय के साथ 4 टोस्ट दिया जाना था, लेकिन महिलाओं को चाय के साथ दो बिस्किट दिया गया था, इसी प्रकार सुबह नाश्ते में दूध, दलिया व पपीता दिया जाना था, लेकिन मरीजों को पपीता की जगह दो केला दिया गया था। इसी प्रकार दोपहर के भोजन में सलाद 50 ग्राम, रोटी 3-4, स्थानीय स्तर पर उपलब्ध हरी सब्जी जैसे लौकी, तरोई, गिलकी, टमाटर, सेम, भिंडी, पालक दिया जाना था। दाल 1 कटोरी और चावल 150 ग्राम दिया जाना था। ठेका कंपनी की तरफ से इस मेन्यू का पालन न करते हुए अपने अनुसार भोजन परोसा गया था। इसी प्रकार अन्य मरीजों को भी रविवार को नाश्ते में दूध, टोस्ट अथवा दलिया दिया जाना था, दोपहर के भोजन भोजन में सलाद, 3-4 रोटी, हरी सब्जी, दाल मूंग की और चावल परोसा जाना था, लेकिन एक ही तरह का भोजन सभी मरीजों को दिया जाना पाया गया।

भोजन वितरण में दिखी लापरवाही

जिला अस्पताल में भोजन वितरण व्यवस्था की पड़ताल में कई खामियां नजर आई। पत्रिका टीम रविवार की दोपहर करीब 1.20 बजे अस्पताल पहुंची तो ठेका कंपनी के कर्मचारी वार्डों में मरीजों को दाल, चावल, रोटी व कद्दू की सब्जी परोस रहे थे। सर्जिकल वार्ड में भर्ती कई मरीजों को दो रोटियां दी गई थी, वहीं सब्जी भी पर्याप्त नहीं मिली थी और थाली से सलाद पूरी तरह गायब था। मरीजों से पूछताछ में पता चला कि दो रोटी व एक कटोरी चावल, दाल के साथ एक चम्मच सब्जी दी गई है। कर्मचारियों से जब पत्रिका टीम ने इस बात पर सवाल किया तो रोटियों की संख्या बढ़ाकर तीन कर दी गई, लेकिन टीम के वापस आते ही फिर दो रोटी वितरण किया जाने लगा। वहीं प्रसूति वार्ड में महिलाओं के पोषण आहार में भी कटौती की बात सामने आई।

  • बेटी की सर्जरी हुई है, दोपहर व रात का खाना मिलता तो है, लेकिन पेटभर नहीं दिया जाता है, बेटी चार रोटी मांग रही थी, लेकिन सिर्फ दो रोटी ही दी गई है। कर्मचारियों से रोटी देने को कहा तो साफ मना कर दिया गया। पर्याप्त भोजन नहीं मिलने पर बाजार से लाने की मजबूरी बनती है।लवकेश रैदास, परिजन
  • तीन दिन से भर्ती हूं पर संतोषजनक भोजन नहीं मिलता है, सुबह के नाश्ते से लेकर दोपहर तक के भोजन में कटौती की जाती है, प्रसूताओं को किस तरह का भोजन दिया जाना चाहिए, इसका ख्याल नहीं रखा जाता, सभी मरीजों को एक समान भोजन वितरण किया जाता है, जिससे समस्या होती है।सरोज कोल, भर्ती मरीज
  • इनका कहनाअस्पताल में खाने की गुणवत्ता को लेकर समय-समय पर जांच की जाती है, अगर लापरवाही बरती जा रही है तो इसकी जांच कराकर ठेका कंपनी को नोटिस जारी किया जाएगा।पूजा सोनी, सहायक प्रबंधक जिला अस्पताल